लाड़ली लक्ष्मी योजना(Ladli Lakshmi Yojana), मध्य प्रदेश सरकार द्वारा शुरू किया गया योजना है जिसका उद्देश्य लड़कियों को जन्म से लेकर विवाह तक सशक्त बनाना है ,उनके भविष्य को सुरक्षित करना है इसमें बालिकाओं की सहायता के लिए एक समय-समय पर कुछ राशि दी जाती है जिसमें ₹600 से लेकर ₹100000 तक देने का प्रावधान है।लाड़ली लक्ष्मी योजना का लाभ और विशेषताएं कुछ इस प्रकार है कि इस योजना से बालिकाओं के प्रति समाज में सकारात्मक दृष्टिकोण को बढ़ावा मिला है यह योजना बालिकाओं के आर्थिक और सामाजिक सशक्तिकरण के विषय में महत्वपूर्ण कदम है.
इस योजना की सबसे खास बात यह है कि यह योजना सबसे सफल साबित हुई है मध्य प्रदेश की बेटियों के लिए जिनसे उनके उत्थान तेजी से हो सकता है आमतौर पर जहां भारत में आज बेटियों को 18 साल से नीचे ही विवाह करवा दिया जाता है तथा जिन्हेंउच्च शिक्षा या बेसिक शिक्षा पानी का अधिकार है नहीं मिल पाता है, एमपी सरकार का मानना है कि जब बेटी सत्संग बनेगी तो घर सशक्त बनेगा जब घर सशक्त बनेगा तो सोसाइटी बनेगा और जब समिति सशक्त बनेगा तो पूरा राज्य सशक्त बनेगा इसी बात को ध्यान में रखते हुए लाडली लक्ष्मी योजना का शुरुआत सर्वप्रथम 1 अप्रैल2007 में किया गया था. तथा इसका दूसरा चरण 2022 को शुरू किया गया.
Ladli Lakshmi Yojana का मुख्य उद्देश्य
- बालिकाओं का जन्म दर को बढ़ावा देना ताकि हम उनका जीवन स्तर को सशक्त बना सके
- बेटियों को शिक्षा को बढ़ावा देना ,उन्हें शिक्षित बनाना
- बाल विवाह के जैसे कुप्रथा को रोकना इसका मुख्य उद्देश्य है
- और महिलाओं का प्रति समाज में सकारात्मक दृष्टिकोण को बढ़ावा देना
Ladli Lakshmi Yojana के अंतर्गत बेटियों को सहायता निम्नलिखित समय-समय पर किया जाता है
- बालिकाओं के जन्म के समय
- बालिकाओं के प्रथम एवं सिक्स कक्षा में एडमिशन/नामांकन के समय
- दसवीं कक्षा पास करने के बाद
- तथा 21 साल का यह पूरी करने पर एक विशेष राशि दी जाती है जो लगभग 1 लख रुपए होती है
बालिकाओं के जन्म के समय | 600 रुपए |
बालिकाओं के प्रथम एवं सिक्स कक्षा में एडमिशन/नामांकन के समय | 2000 तथा 400रुपए |
नवी कक्षा में प्रवेश के लिए | 6000 रुपए |
दसवीं कक्षा पास करने के बाद | 6000 रुपए |
12वीं कक्षा पास करने के बाद | 6000 रुपए |
तथा बालिकाओं को 21 साल पूरक होने पर एक विशेष राशि | 1 लाख रुपए |
Ladli Lakshmi Yojana का लाभ प्राप्त करने के लिए निम्नलिखित शर्तें होनी चाहिए
- उसे बालिका को मध्य प्रदेश का नागरिक होना अनिवार्य है
- बालिका के माता-पिता को अधिकतम दो बच्चे ही हो
- माता-पिता आयकर दाता न हो ।
- 1 जनवरी 2006 अथवा उसके पश्चात् जन्मी बालिका।
- बालिका स्थानीय आंगनवाड़ी केन्द्र में पंजीकृत हो।
- माता-पिता आयकर दाता न हो ।
- बालिका को शैक्षणिक संस्था में नियमित रूप से नामांकन होना चाहिए और पढ़ाई जारी रखना चाहिए ,पढ़ाई छोड़ देने पर बालिका को कोई राशि नहीं दी जाएगी
- परिवार नियोजन के नियमों का पालन करना अनिवार्य है
- रिसेप्शन जानवी प्रथम लाडली को परिवार नियोजन का हिस्सा होना अनिवार्य नहीं है परंतु दूसरे लाडली बिटिया के लिए यह अनिवार हो जाता है, इसके लिए मध्य प्रदेश सरकार परिवार नियोजन प्रमाण-पत्र (द्वितीय बालिका की स्थिति में). देती है
- बालिकाओं को 21 साल पूरक होने पर उन्हें ₹100000 का प्रधान किया जाता है जिसकी शर्तें यह है कि बेटियों का विवाह 18 साल से पहले नहीं कर सकते उससे पहले आपने विवाह कर दिया तो आपको ₹100000 जो बालिकाओं को 21 साल पूरक होने पर मिलता है नहीं दिया जाएगा
- बालिका का पंजीकरण 1 वर्ष के भीतर होना चाहिए
- बालिका के जन्म के समय माता-पिता को मध्य प्रदेश का स्थाई निवासी होना चाहिए
Ladli Lakshmi Yojana के आवेदन की प्रक्रिया
- इसके लिए आपके पास जरूरी दस्तावेज होना आवश्यक है जैसे बालिका के जन्म प्रमाण पत्र माता-पिता का निवास प्रमाण पत्र और अन्य आवश्यक दस्तावेजों की आवश्यकता होती है
- इस योजना को आवेदन करने के लिए आप आंगनबाड़ी केंद्र या स्थानीय सरकारी कार्यालय में जमा करवा सकते हैं
- इस आवेदन को आप ऑनलाइन भी कर सकते हैं जिसका स्टेप्स उसे इस तरह से जो नीचे दिया गया है
- सबसे पहले मुख्यमंत्री लाडली योजना के official वेबसाइट पर जाएंगे जिसका लिंक मैंने नीचे डाल दिया है
- फिर आवेदन करें पर क्लिक करेंगे
- ऑनलाइन आवेदन करने के लिए official website लिंक; Click hare
Ladli Lakshmi Yojana का सामाजिक प्रभाव कुछ इस तरह
जागरूकता | इस योजना ने समाज में बालिकाओं के अधिकार व उनकी समझ में महत्व को जागरूकता प्रदान किया है |
आर्थिक स्वतंत्रता | इस योजना ने बेटियों को आर्थिक रूप से स्वतंत्र बनाया है जन्म से लेकर विवाह के बाद तक |
लैंगिक समानता | इस योजना से लैंगिक समानता बड़ी है लोगों में जो लड़कियों के प्रति एक नकारात्मक भाव रहता था की बेटी पढ़े लिखेगी तो क्या करेगी, आखिर उसे जाना तो दूसरे के घर ही है, बेटियों तो सिर्फ खाना बनाने के लिए होती है इन सारे विचारों को बदला गया है तथा लड़कों व लड़कियों को समान रूप से देखा जाने लगा है |
साक्षरता दर | इस योजना से बालकों की साक्षरता दर में अभूत पूर्व वृद्धि हुई है |
बालिका का आत्मविश्वास तथा आत्मसम्मान | इस योजना से लड़कियों में आत्मविश्वास आत्मसम्मान बड़ा है कि मैं भी अब बिना किसी मर्द के वित्तीय सहायता के बिना अकेला जीवन विप कर सकती हैं |
बेटी के परिवारों पर प्रभाव | इस योजना से जब बालिका सशक्त हो जाएगी तो वह काम कर सकती है अपने परिवार के लिए वित्तीय सहायता ला सकती है उनका परिवार ज्यादा खर्च कर सकते हैं और देश के कंजप्शन मार्केट में ज्यादा योगदान दे सकता है |
बाल विवाह पर रोक | बेटियों की शादी की उम्र 18 साल के बाद करने से उनकी बाल विवाह जैसी कुप्रथा को जड़ से खत्म किया गया |
Ladli Lakshmi Yojana की चुनौतियां कुछ इस प्रकार से हैं
- गांव के हर एक घर तक योजना का सही तरीके से लाभ पहुंचाना आज भी एक चुनौती भरा काम है
- ग्रामीण इलाकों में जागरूकता की कमी है इसलिए आज भी लोग इस योजना का लाभ नहीं उठा पा रहे हैं
समाधान
- सरकार द्वारा जागरूकता अभियान का आयोजन किया जाए
- आवेदन प्रक्रिया को सरल बनाया जाए तथा हर एक प्रत्येक नागरिकता पहुंचाया जाए
- निगरानी को बढ़ाना ,फॉलो अप सिस्टम को दुरुस्त करना, करप्शन को खत्म करना अनिवार्य है
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Ladli Lakshmi Yojana का विकसित भारत बनने में योगदान
यह हम सभी जानते हैं कि अगर भारत को विकसित बनाना है तो लड़कियों को कार्य प्रणाली में 50% का भागीदारी होना अनिवार्य है हर एक फील्ड में जो कि अभी ऐसा नहीं देखा जा रहा है गांव के अधिकतर महिलाएं आज भी घर संभालने में खेती-बाड़ी में लगी हुई है. पता जब महिलाएं पढ़ लिख लेंगे तो जाहिर से बात है कि देश के वर्कफोर्स का हिस्सा बन सकेंगे
Ladli Lakshmi Yojana योजना का भविष्य
जिस तरह से मध्य प्रदेश सरकार द्वारा इस योजना को बोल दिया जा रहा है इससे यह साफ हो जाता है कि इसका भविष्य अत्यंत ही लाभकारी लाडली को सशक्त बनाने वाली होगी. परंतु अभी भी इसमें बहुत ज्यादा सुधार की आवश्यकता है लोगों तक इस योजना के बारे में सूचना को पहुंचाने की आवश्यकता है जागरूकता अभियान के अंतर्गत लोगों समझने की के आवश्यकता है कि वह जाकर अपने बालकों का पंजीकरण 1 साल के अंदर कर दें
Ladli Lakshmi Yojana से लाभान्वित बालिकाओं की संख्या
लाडली पंजीयन | 48 लाख 44 हजार |
स्वीकृत छात्रवृत्तियों की संख्या | 17 लाख 23 हजार |
छात्रवृत्ति स्वीकृत लाड़लियों की संख्या | 11 लाख 39 हजार |
छात्रवृत्ति प्राप्त इन रूपी | 502 करोड़ से ऊपर |